एक सौतेला बेटा अपने सौतेले पिता की कामुक निगाहों को पकड़ लेता है और उसकी प्राकृतिक संपत्तियों से उसे चिढ़ाता है। उसके भूरे रंग के कर्ल्स उसके चेहरे को तैयार करते हैं क्योंकि वह उत्सुकता से उसे खुश करती है। कठिन सवारी से वह बेदम हो जाती है, जिससे उसके सौतेले पिताजी का कुशल स्पर्श और अधिक तरस जाता है।